गुजरात में आया नहीं वायु तूफान, बारिश, तेज हवा और उफनती लहरों का खतरा बरकरार

Cyclone Vayu: गुजरात में चक्रवाती तूफान वायु की आहट सुबह से दिखाई दे रही है. आज सुबह पोरबंदर में समुद्र में लहरें उठती दिखाई दी. तूफान को देखते हुए ऐहतियातन करीब तीन लाख लोगों को सुरक्षित स्थानों पर भेजा गया है.

एबीपी माझा वेब टीम Last Updated: 13 Jun 2019 07:40 PM
पोरबंदर के मछुआरे हालात ठीक होने का इंतजार कर रहे हैं. उन्होंने बताया कि शाम 8 बजे हाइ टाइड का वक्त है, तूफान के असर से उस वक्त ऊपर तक पानी आ सकता है. मछुआरों को 21 साल पहले का मंजर याद आ रहा है जब तूफान ने काफी तबाही मचाई थी. हालांकि उन्हें तसल्ली है कि तूफान में रास्ता बदल लिया. मछुआरों का कहना है कि तूफान के छू के गुजर जाने भर से भी उनका काफी नुकसान हुआ है और सरकार को उनकी मदद करनी चाहिए.
लहरों की रफ्तार काफी बढ़ गई है, पोरबंदर में 80km/hr की रफ्तार से हवा चलने लगी है, बारिश तेज हो गई है. अगले तीन घन्टे बेहद अहम हैं, जब हवा की रफ्तार 120-130 km/hr तक पहुंच सकती है. प्रशासन मुस्तैद है, स्थिति सामान्य होने में 24 घन्टे लग सकते हैं.
एनडीआरएफ ने शियालबेट गांव से एक एक गर्भवती महिला को रेस्क्यू करके जाफराबाद के अस्पताल पहुंचाया गया. महिला ने सफलतापूर्वक एक बच्चे को जन्म दिया, बच्चे और मां दोनों की हालत स्थिर है। वहीं पश्चिमी रेलवे ने बताया कि वायु तूफान के चलते एहतियातन नौ और ट्रेनों को कैंसिल किया गया है. चार ट्रेनों की दूरी घटाई गई है.



मौसम वैज्ञानिक सती देवी ने कहा कि चक्रवाती तूफान वायु तटीय इलाकों को छूते हुए निकलेगा. इसकी रफ्तार 145-165 किलो मीटर प्रति घंटे तक रहेगी. लैंडफॉल नहीं होने की वजह से तूफान की इंटेंसिटी कम होगी मगर खतरा अभी भी बरकरार है. अधिक बारिश का अलर्ट जारी है.
चक्रवाती तूफान वायु का प्रभाव महाराष्ट्र में भी देखा गया. इसी वजह से मुंबई में हाईटाइड का अलर्ट है और कोंकण क्षेत्र में बीच को बंद कर दिया गया है.
मनोरमा मोहंती ने कहा कि आज दोपहर में सौराष्ट्र तट के पास चक्रवाती तूफान वायु 135 से 160 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से गुजरेगा. इससे तटवर्ती जिले दीव, गिर सोमनाथ, जूनागढ़, पोरबंदर और द्वारका प्रभावित होंगे.
भारतीय मौसम विभाग की वैज्ञानिक मनोरमा मोहंती ने आज अहमदाबाद में कहा कि गुजरात के तट से नहीं टकराएगा वायु चक्रवात. यह चक्रवात वेरावल, पोरबंदर, द्वारका के पास से गुजरेगा जिससे इन इलाकों में भारी आंधी और बारिश होगी.


वायु तूफान को लेकर अलर्ट के बावजूद सोमनाथ मंदिर बंद नहीं किये जाने पर गुजरात के मंत्री भूपेंद्र सिंह चूडासमा ने कहा कि ये कुदरती आफत है, कुदरत ही रोक सकती है, तो कुदरत को हम क्या रोकें. मंदिर को बंद नहीं किया जा सकता है. हमने पर्यटकों से आग्रह किया है कि वह नहीं आएं. लेकिन कई सालों से आरती यहां होती है, इसे रोका नहीं जा सकता है.
चक्रवाती तूफान वायु का असर गुजरात में दिखना शुरू हो गया है. तेज हवा के चलते गिर-सोमनाथ जिले में स्थित सोमनाथ मंदिर परिसर में शेड उड़ गया.


मौसम विभाग ने आज कहा कि वायु तूफान गिर-सोमनाथ, जूनागढ़, पोरबंदर, राजकोट, जामनगर, देवभूमि द्वारका और कच्छ में अपना प्रभाव दिखाएगा. यहां आज दोपहर में 155 से 165 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चलेगी.
चक्रवाती तूफान वायु से गुजरात के कच्छ, मोरबी, जामनगर, जूनागढ़, देवभूमि-द्वारका, पोरबंदर, राजकोट, अमरेली, भावनगर और गिर-सोमनाथ जिले प्रभावित हो सकते हैं.
केन्द्रीय भू विज्ञान मंत्री हर्षवर्धन ने कहा कि मैं उन सभी परिवारों के भले की प्रार्थना करता हूं जिनके चक्रवात वायु से प्रभावित होने की आशंका है. इसके 13 जून को दोपहर में 155-156 किलोमीटर प्रतिघंटा रफ्तार वाली हवा के साथ आने की संभावना है. उन्होंने कहा कि भू विज्ञान मंत्रालय के अधिकारी चक्रवात के संबंध में समय पर जानकारी मुहैया करा रहे हैं.

पार्श्वभूमी

चक्रवाती तूफान 'वायु' आज दोपहर में गुजरात में द्वारका और वेरावल के बीच टकरायेगा. वायु बेहद गंभीर की श्रेणी में आ गया है. इस दौरान हवा की रफ्तार 155-165 किमी/घंटा तक हो सकती है जो 180 तक पहुंच सकता है. तट से टकराने के 24 घंटे बाद तक इसका असर बने रहने की आशंका है. इसे देखते हुये दस जिलों में अलर्ट जारी कर दिया गया है.


सेना, वायु सेना और एनडीआरएफ की टीमें तैनात हैं और तटीय जिलों में बचाव और राहत कार्यों के लिए तैयार हैं. भारतीय तटरक्षक बल ने चक्रवाती तूफान की स्थिति में बचाव और बचाव के लिए जहाजों और विमानों को तैनात किया है. एनडीआरएफ की 45 सदस्यों वाले राहत दल की करीब 52 टीमें गठित की गई हैं और सेना की दस टुकड़ियों को तैयार रखा गया है. इसके अलावा भारतीय नौ सेना के युद्धपोतों और विमानों को भी तैयार रहने को कहा गया है. करीब तीन लाख लोगों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किया गया है.


पश्चिम रेलवे ने चक्रवात वायु से होने वाली संभावित आपदा को देखते हुये मुख्यमार्ग की 40 रेलगाड़ियों को रद्द और ऐसी ही 28 ट्रेनों को आंशिक रूप से समाप्त करते हुये कम दूरी पर ही रोक दिया गया है.

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